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उत्तराखंड: केदारनाथ तीर्थ पुरोहितों ने सूचना आयोग के सचिव को बंधक बनाया, जानिए कारण

उत्तराखंड

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उत्तराखंड रुद्रप्रयाग : राज्य सूचना आयोग के सचिव अरविंद पांडे केदारनाथ धाम के दौरे पर आए थे, लेकिन वहां मौजूद पुरोहितों और व्यापारियों ने आरोप लगाया कि बिना सहमति और आदेश पत्र के दौरे को तोड़ा गया, इसी बवाल में उन्होंने सचिव को घेर लिया और बंधक बना लिया। करीब पांच घंटे बाद अनुसेवक ऊखीमठ के समझाने पर उन्हें छोड़ा गया।


मामला कुछ यूं है कि वर्ष 2024 में इस सीजन की यात्रा शुरू होने से पहले सरकार ने केदारनाथ धाम में तीर्थ पुरोहितों के भवनों को बिना किसी आपसी सहमति के ध्वस्त कर दिया। इसके अलावा मंदिर मार्ग पर बड़े नाले बनाने के लिए तीर्थ पुरोहितों की अस्थायी दुकानों को भी ध्वस्त कर दिया गया, जिस समय भवनों को ध्वस्त किया गया उस समय शासन में अपर सचिव अरविंद पांडे थे। आज बुधवार को सुबह 8 बजे सचिव अरविंद पांडे दर्शनों के लिए केदारनाथ धाम पहुंचे। इस दौरान तीर्थ पुरोहितों ने उन्हें मंदिर समिति के आवास पर बंधक बना लिया और उनसे भवन ध्वस्तीकरण का आदेश पत्र दिखाने की मांग की, तीर्थ पुरोहितों ने कहा कि आपने बिना आदेश पत्र दिखाए यहां भवनों को ध्वस्त कर दिया, जिसका हमने कपाट खुलने के पहले दिन भी धाम में अपने भवनों और दुकानों को बंद कर विरोध जताया था।


आज अरविंद पांडे दूसरे राज्य के आईएएस अधिकारी के साथ केदारनाथ धाम में दर्शन करने पहुंचे थे। इस दौरान उन्हें तीर्थ पुरोहितों और व्यापारियों ने करीब ढाई घंटे तक बंधक बनाए रखा। सूचना मिलने पर जिला प्रशासन की ओर से एसडीएम ऊखीमठ अनिल शुक्ला केदारनाथ पहुंचे और उन्होंने तीर्थ पुरोहितों से वार्ता कर उन्हें समझाया जिसके बाद तीर्थ पुरोहित और व्यापारी शांत हुए। एसडीएम ने कहा कि तीर्थ पुरोहितों की सभी मांगों पर कार्रवाई के लिए जल्द ही शासन स्तर से पत्र भेजा जाएगा।

 

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